Bhopal School Bus Accident: बस नंदा एजुकेशन सोसायटी के नाम पर, अप्रैल में बेचने के बाद भी RTO रिकार्ड में नहीं बदला नाम
Bhopal School Bus RTO Registration Controversy: भोपाल के बाणगंगा चौराहा पर ग्रीन सिग्नल के इंतजार में खड़े वाहन चालकों को रौंदकर गुजरने वाली स्कूल बस को लेकर एक नया मामला सामने आया है। इस मामले में टीटी नगर पुलिस ने बस मालिक मानते हुए जिस व्यक्ति पर एफआईआर दर्ज की है।
जबकि वास्तविकता में यह बस परिवहन विभाग के रिकार्ड में उसके नाम पर पंजीकृत ही नहीं है। जिस एजुकेशन सोसायटी के नाम पर यह बस पंजीकृत है। पुलिस ने उस संस्था पर दूसरे दिन तक कोई कार्रवाई नहीं की। ऐसे में अब पुलिस की कार्रवाई भी जांच पर भी सवाल उठन लगे हैं। सूत्र बताते हैं कि ट्रांसफर खर्च बचाने के लिए आरटीओ रिकार्ड में स्कूल बस मालिक का नाम नहीं बदला है।
मूल बस मालिक के कहने पर FIR में बदला आरोपी
नंदा एजुकेशन सोसायटी ने यह स्कूल बस ग्राम दिल्लौर निवासी प्रवेश नागर को अप्रैल में बेचना बताया। जिसके बाद टीटी नगर पुलिस ने प्रवेश नागर को मूल मालिक मानते हुए एफआईआर दर्ज कर दी। प्रवेश नागर को पुलिस ने हिरासत में भी लिया। कायदे से मूल बस मालिक को बस बेचते समय आरटीओ रिकार्ड में नाम ट्रांसफर करना चाहिए था।
खर्च बचाने RTO रिकार्ड में नहीं किया नाम ट्रांसफर
परिवहन विभाग के रिकार्ड में वाहन का नाम ट्रांसफर करने की प्रक्रिया होती है। जिसके तहत वाहन बेचने के साथ आरटीओ रिकार्ड में वाहन मालिक का नाम भी बदला जाता है। जिसमें ट्रांसफर राशि का खर्च वाहन बेचने वाले को देना होता है। कुछ सौदों में बेचने और खरीदने वाले को नाम ट्रांसफर का खर्च मिलकर उठाना पड़ता है। सूत्र बताते है कि नाम ट्रांसफर का खर्च बचाने की वजह से अब तक रिकार्ड में वाहन मालिक का नाम नहीं बदला है।
ब्रेक फेल होने पर वाहन चालकों को रौंदते गुजरी थी बस
भोपाल के बाणगंगा चौराहा पर रविवार, 12 मई को ब्रेक फेल होने पर बस सिग्नल पर खड़े वाहन चालकों को रौंदते हुए गुजरी थी। जिसमें ड्यूटी से घर लौट रही डॉक्टर आयशा खान की मौत हो गई थी। इस हादसे में अन्य पांच लोग गंभीर घायल हुए। जिसके बाद मोहन सरकार ने मामले को संज्ञान में लिया। जांच में सामने आया कि 5 महीने पहले बस का फिटनेस खत्म हो चुका था। पंजीयन नहीं था और बीमा भी नहीं था।
लापरवाही पर संभागायुक्त RTO को कर चुके सस्पेंड
लापरवाही पर संभागायुक्त संजीव सिंह ने आरटीओ जितेंद्र शर्मा को सस्पेंड कर दिया था। इस मामले में टीटी नगर पुलिस ने परिवहन पोर्टल से बस मूल बस मालिक का नाम सर्च किया। जिसमें बस नंदा एजुकेशन सोसायटी के नाम से पंजीकृत मिली। पुलिस एजुकेशन सोसायटी के प्रदीप पांडे से पूछताछ की। जिसमें उनका कहना था कि यह बस उन्होंने अप्रैल में बेच दी थी।