Chhattisgarh Weather Update: छत्तीसगढ़ में आज तेज बारिश की चेतावनी, बस्तर, सूरजपुर समेत कई जिलों में बाढ़ का खतरा, 19 जिलों में यलो अलर्ट जारी

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Chhattisgarh Weather Update: आज 17 जुलाई को छत्तीसगढ़ के मौसम में बदलाव हो सकता है। मौसम विभाग के अनुसार, दक्षिण-पश्चिम बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश के ऊपर बने निम्न दबाव के क्षेत्र का प्रभाव अब पश्चिम उत्तर प्रदेश की ओर बढ़ रहा है। इसके साथ ही, यह प्रणाली ऊपरी हवा में 7.6 किलोमीटर की ऊंचाई तक सक्रिय चक्रीय परिसंचरण के साथ बनी हुई है, जो प्रदेश में बारिश का कारण बन सकती है।

प्रदेश में बारिश और वज्रपात का अलर्ट

मौसम विभाग ने 17 जुलाई को प्रदेश के कई हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश या गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ने की संभावना जताई है। खासतौर पर, सरगुजा संभाग (Surguja Division) के जिलों में एक-दो स्थानों पर भारी वर्षा और वज्रपात (Thunderstorm) की चेतावनी जारी की गई है।

रामानुजगंज में सबसे ज्यादा बारिश

पिछले 24 घंटों में, सूरजपुर (Surajpur), बलरामपुर (Balrampur) और बलौदाबाजार (Balodabazar) जिलों में भारी से बहुत भारी वर्षा (Heavy to Very Heavy Rainfall) दर्ज की गई। रामानुजगंज (Ramanujganj) में सबसे ज्यादा 12 सेमी बारिश (12 cm rainfall) हुई, जबकि अन्य स्थानों जैसे चलगली, सुहेला, तखतपुर, पलारी, कुसमी आदि में 8 से 11 सेमी तक बारिश हुई।

रायपुर (Raipur) में आज अधिकतम तापमान 32°C और न्यूनतम तापमान 24°C के आसपास रहने की संभावना है। इस दौरान, शहर के आकाश में मेघाच्छन्न (Cloudy) रहने के साथ एक-दो बार हल्की बारिश (Light Rain) हो सकती है।

मौसम विभाग का येलो अलर्ट

मौसम विभाग ने प्रदेश के कुछ जिलों में येलो अलर्ट (Yellow Alert) जारी किया है, जिनमें कोरबा (Korba), गौरेला-पेंड्रा-मरवाही (Gaurela-Pendra-Marwahi), सुरगुजा (Surguja), सूरजपुर (Surajpur), कोरिया (Koriya) और बलरामपुर (Balrampur) जिले शामिल हैं। इन क्षेत्रों में मेघगर्जन (Thunderstorm), आकाशीय बिजली गिरने (Lightning) और 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तेज हवा (Strong Winds) चलने की संभावना है।

इसके साथ ही, इन जिलों में मध्यम दर्जे की बारिश (Moderate Rain) हो सकती है। मौसम विभाग ने इन क्षेत्रों में रहने वाले नागरिकों को सावधानी बरतने की अपील की है।

मौसम में बदलाव का असर

साथ ही, मानसून द्रोणिका (Monsoon Trough) उत्तर-पश्चिम राजस्थान से होते हुए ग्वालियर (Gwalior), दक्षिण-पश्चिम बिहार (South-West Bihar), पुरुलिया (Purulia), कोंटाई (Kontai) होते हुए उत्तर-पूर्व बंगाल की खाड़ी (North-East Bay of Bengal) तक फैली हुई है। इस प्रणाली के प्रभाव से दक्षिण छत्तीसगढ़ (South Chhattisgarh) में बारिश और भी अधिक सक्रिय हो सकती है।

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